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इलेक्ट्रिक वाहनों को बढ़ावा देने के लिए बैटरी स्वैपिंग नीति-केंद्रीय बजट 2022-23

बैटरी स्वैपिंग नीति क्या है

इस आर्टिकल में इलेक्ट्रिक वाहनों बढ़ावा देने के लिए वित्तीय मंत्री निर्मला सीतारमण ने केंद्रीय बजट 2022-23 में क्या कहा ?, बैटरी स्वैपिंग नीति के बारे में वित्तीय मंत्री निर्मला सीतारमण ने क्या कहा ?, तथा बैटरी स्वैपिंग नीति क्या है ? इसके बारे में जानेंगे।

पेट्रोल-डीजल के वाहनों से वर्तमान समय में प्रदुषण की मात्रा बहुत अधिक बढ़ चुका है। इसलिए पर्यावरण में से प्रदुषण की मात्रा को कम करने के लिए बहुत से लोगो ने इलेक्ट्रिक वाहनों का उपयोग शुरू कर दिया है। इलेक्ट्रिक वाहनों का उपयोग दिन प्रतिदिन बढ़ता ही जा रहा है।

इलेक्ट्रिक वाहनों का प्रचलन बढे इसके लिए सरकार के द्वारा बहुत सी सब्सिडी तथा टैक्स में छूट दिया जा रहा है। लोगो में इलेक्ट्रिक वाहनों के प्रति जागृति लाने के लिए सरकार के द्वारा बहुत से सेमिनार जैसे कार्यक्रम शुरू किये जा रहे है

बैटरी स्वैपिंग नीति (Battery Swapping Policy)

भारत की वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण ने 1 फरवरी 2022 के दिन वित्तीय वर्ष 2022-23 के लिए केंद्रीय वित्तीय बजट की घोषणा की।

वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण जी ने इलेक्ट्रिक वाहनों को बढ़ावा देने के लिए 2022-23 के केंद्रीय बजट में बैटरी स्वैपिंग नीति की घोषणा की।

बैटरी स्वैपिंग नीति

बैटरी स्वैपिंग नीति यह ऐसी नीति है जिसमे समाप्त हो चुकी बैटरी को पूरी तरह से चार्ज की गई बैटरी से बदल दिया जाता है। थोड़े ही समय में इलेक्ट्रिक वाहनों को चार्ज करने का सबसे आसान तरीका है। बै

टरी स्वैपिंग नीति का फायदा यह होगा को ईवी में बैटरी चार्जिंग की समस्या खत्म हो जाएगी। और बैटरी की चार्जिंग जैसे ही खत्म होगी उसे फिर से फुल चार्ज करके लगाया जा सकता है।

यह नीति लाने से लोगो में जो इलेक्ट्रिक वाहन खरीदते समय चार्जिंग से संबंधित जो भी सवाल थे वो सभी सवाल दूर हो जायेंगे।

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निर्मला सीतारमण ने भाषण के दौरान यह भी कहा की, चार्जिंग स्टेशनो की स्थापना के लिए शहरी क्षेत्रो में जगह की कमी को ध्यान में रखते हुए बैटरी स्वैपिंग नीति को लाया जायेगा और इंटरऑपरेबिलिटी मानकों को औपचारिक रूप दिया जायेगा।

बैटरी स्वैपिंग नीति आने से सरकार बैटरी बनाने के लिए निजी क्षेत्र तथा ऊर्जा क्षेत्र में नई व्यवसाय मॉडल बनाने के लिए भी बढ़ावा देगी। वित्त मंत्री ने यह भी कहा की सरकार ईवी के विकास के लिए स्पेशल मोबिलिटी जोन भी बनाने की योजना कर रही है।

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संसद में बजट सत्र के दौरान ,सीतारमण जी ने संकेत दिया की जल्द ही देश में कुछ ऐसे क्षेत्र होंगे जो ICE वाहन वाले लोगो के लिए प्रतिबंधित होंगे। उनका यह बयान इस बात को मजबूत संकेत देता है की सरकार वित्तीय वर्ष 2022-23 में ईवी उद्योग को जबरदस्त बढ़ावा देने के लिए योजना बना रहा है।

देश में बैटरी स्वैपिंग को सफलतापूर्वक अपनाने के लिए भारत की रिलायंस इंडस्ट्रीज और ब्रिटैन की बीपी पीएलसी ने साझेदारी की है। वही Bounce Infinity कंपनी ने महीनो पहले ही अपनी Bounce swappable battery technology वाली पहेली इलेक्ट्रिक स्कूटर लांच कर दी है।

बैटरी स्वैपिंग नीति Quick Details Story

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बैटरी स्वैपिंग नीति क्या है?

बैटरी स्वैपिंग निति यह, इलेक्ट्रिक वेहिकल्स की बैटरी ख़त्म हो जाने पर बैटरी को चार्ज करने के बजाय बैटरी स्वैपिंग स्टेशन पर जाकर ख़त्म बैटरी को निकाल के स्वैप स्टेशन में से फुल चार्ज बैटरी को लेकर व्हीकल में लगा लेना। जिससे इलेक्ट्रिक व्हीकल्स कुछ ही समय में फुल चार्ज हो जायेंगे।

बैटरी स्वैपिंग नीति के फायदे?

बैटरी स्वैपिंग नीति के कारन इलेक्ट्रिक व्हीकल्स को चार्ज करने में लग रहा समय की बचत होगी (कुछ ही मिनिटों में गाड़ी फुल चार्ज हो जाएगी) तथा इंफ्रास्ट्रक्चर खर्चा भी बचेगा।

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